सुपंक्तियाँ
Thursday, September 29, 2016
जिनके हों मजबूत
Wednesday, September 28, 2016
कितनी भी कर ली
वक़्त की कीमत
तोल-मोल के चाहिए
Monday, September 26, 2016
जो चुनौतियों से
खुशनसीब है वो
तब घंटों की
जो हैं लगाते
Sunday, September 25, 2016
जब से प्राणी को
सोच-सोच की बात,टी.वी.फ्रिज और
कदम बढ़ाने की देरी,दूर हो मंदिर
Friday, September 23, 2016
जब एक दरवाजा,क्यों नहीं छुटती,सूरत का क्या
Thursday, September 22, 2016
गुरु की कृपा, रात ढलेगी
चार किताबें पढ़ने,जब जतनों से,लालच तो ऐसी ,श्वेत वर्ण पर
Wednesday, September 21, 2016
मुश्किल नहीं कोई
खुशियाँ ले के
कच्ची मिट्टी की तरह,कर्म के फल की,मंदिर में जाओ ,ये गाड़ी बंगला और
Thursday, September 15, 2016
जिस घर बुजुर्गो
माता- पिता के चरणों
एक-एक तिनका
ठोकर के बाद ही
Wednesday, September 14, 2016
धीरज रख कर बढ़ता
ऐसी दौलत का तू
जो करते विश्वास करम
Tuesday, September 13, 2016
जो भी राम का
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